हे धनपतियों कुबेर के समदृश्य
हे शक्तिपतियों इन्द्र-दर्प युक्त
सिर्फ तुमसे ही यह काल नहीं
सिर्फ तुमसे ही यह जीवन नहीं
तुम बस एक पांसे हो काल के
जब चाहे तुम्हें वह तोड़ दे
बुद्धि उसकी है, युक्ति उसकी है
जब चाहे तब गति मोड़ दे
भूल से भी इस घमंड में न रहना
कि तुम सब कुछ जीत लोगे
अंत समय जब आयेगा
तुम्हारा घमंड चूर-चूर हो जायेगा
विश्वास न हो तो इतिहास देखो
अगर फिर भी न हो तो राह देखो
जब गिनेंगीं सांसें आखिरी गिनती
याद आयेगी तब मेरी यह विनती
🗒️🖋️🖋️🖋️शिवमणि"सफर"(विकास)